हमीरपुर। हर शिक्षण संस्थान को राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के क्रियान्वयन में सक्रिय भूमिका निभानी होगी, जिससे आने वाले विद्यार्थियों को इस शिक्षा नीति का लाभ मिल सके। साथ ही शिक्षकों, प्राध्यापकों और शिक्षाविदों को हाल में जारी स्कूली शिक्षा के लिए राष्ट्रीय पाठ्यक्रम के ड्राफ्ट का भी अध्ययन करना चाहिए, ताकि राष्ट्रीय पाठ्यक्रम के ड्राफ्ट को अंतिम रूप देने के पहले बेहतर सुझाव देकर उसमें शामिल किया जा सके। यह बात हिमाचल प्रदेश तकनीकी विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो शशि कुमार धीमान ने हमीरपुर जिला के नादौन उपमंडल में स्थित डीडीएम साई कॉलेज जलाड़ी में आयोजित कार्यशाला में कही। डीडीएम साई कॉलेज में राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020, भावी अवसर व चुनौतियां विषय पर कार्यशाला हुई। कार्यशाला का शुभारंभ तकनीकी विवि के कुलपति ने किया। उन्होंने कहा कि स्कूली शिक्षा के सभी स्तरों प्री-स्कूल से माध्यमिक स्तर तक सबके लिए एक समान पहुंच सुनिश्चित करने पर जोर देती है, अब जमा दो ढांचे की जगह 5+3+3+4 का नया पाठ्यक्रम संरचना लागू होगा। वहीं, स्कूल छोड़ चुके बच्चों को फिर से मुख्यधारा में शामिल करने के लिए स्कूल के बुनियादी ढांचे का विकास करना है। कार्यशाला में नरेंद्र परमार, डॉ ओम प्रकाश शर्मा, प्रो आरसी शर्मा, करतार सिंह, डॉ विश्व मोहन शर्मा, डॉ जयश्री सामंतरे, डॉ राजकुमार धीमान, डॉ शिवाली राणा, मीनू चौधरी, डॉ कुलदीप चंदेल, डॉ राजेश वर्मा सहित अन्य प्रतिभागी उपस्थित रहे।