दिन-प्रतिदिन लगातार महंगाई को बढ़ाते हुए बीजेपी सरकार देश से गरीब को खत्म करने के सुनियोजित षडयंत्र में लगी हुई है। यह बात राज्य कांग्रेस उपाध्यक्ष एवं विधायक राजेंद्र राणा ने यहां जारी प्रेस बयान में कही है। राणा ने कहा कि देश में हाल ही में 34 उपचुनावों के बाद अगले ही घंटों में सरकार ने अपना रंग दिखाना शुरू कर दिया है। लगातार पांचवें दिन डीजल-पेट्रोल को महंगा किया गया है। जिसको देख कर लग रहा है कि आने वाले चंद दिनों में अगर डीजल-पेट्रोल का रेट 150 रुपए प्रति लीटर को पार कर जाएगा, यह तय है। उन्होंने कहा कि अकेले पेट्रोल-डीजल के दम पर सरकार के राजस्व में 79 फीसदी की अभूतपूर्व सरकारी आमदन दर्ज की गई है। यह वृद्धि कोविड-19 के शुरू होने से पहले से लेकर अब तक दर्ज हुई है। सत्ता के दम पर चली इस सरकारी लूट में आम आदमी को महंगाई का मीठा जहर धीरे-धीरे दिया जा रहा है। क्योंकि सरकार समझ चुकी है कि धीरे-धीरे लगातार महंगाई बढ़ाने से देश की जनता इस महंगाई की आदी हो रही है इसलिए सरकार ने महंगाई बढ़ाने का अपना एजेंडा लगातार जारी रखा है। इतना ही नहीं अब कमर्शियल रसोई गैस के सिलेंडर का रेट 2 हजार प्रति सिलेंडर से ऊपर चला गया है। जबकि डोमेस्टिक रसोई गैस का रेट 1 हजार से ऊपर चला गया है।
पेट्रोल-डीजल को लगातार महंगा करने से स्वाभाविक तौर पर महंगाई का असर सब चीजों पर पड़ रहा है। जिस कारण से इस देश में आम आदमी का जीना दुश्वार होता जा रहा है। राणा ने कहा कि हाल ही में हुए उपचुनाव के नतीजे तय करेंगे कि बद से बदतर हो रहे हालातों में देश और प्रदेश का मतदाता क्या महंगाई को मूक स्वीकृति दे रहा है या सरकार के महंगाई बढ़ाने के सुनियोजित षडयंत्र को सहन करने का आदी हो चुका है। राणा ने कहा कि त्यौहारों के महीने में जिस तरह से एकाएक आसमान पर पहुंची महंगाई को और बढ़ाने का क्रम जारी है उससे निश्चित है कि सरकार इस देश में आम गरीब आदमी को तबाह करने पर तुली हुई है। राणा ने कहा कि 100 रुपए लीटर से सीधा 200 रुपए लीटर पर पहुंचा सरसों का तेल अब 265 रुपए प्रति लीटर जा पहुंचा है। जिससे आम आदमी की रसोई का बजट बुरी तरह गड़बड़ा गया है। बेरोजगारी की मार सह रहे आम आदमी के साथ सरकार करना क्या चाह रही है, यह समझ से परे है। लोकतंत्र में सरकारों का काम आम आदमी को राहत देना होता है लेकिन बीजेपी सरकार ने जनादेश के दम पर आम आदमी को आफत में डाल कर रखा है।