हिमाचल प्रदेश में निजी प्लानर प्लॉट मालिकों से नक्शे पास करने के लिए मनमानी फीस नहीं ले सकेंगे। इसके लिए सरकार फीस तय करेगी। टीसीपी विभाग में फीस स्ट्रक्चर तैयार किया जा रहा है। इसे स्वीकृति के लिए सरकार को भेजा जाएगा। विभाग के पास करीब पांच सौ निजी प्लानर पंजीकृत हैं। सरकार ने इसकी भी सूची मांगी है।
अभी ये वास्तुकार लोगों के भवनों के नक्शे तैयार करते हैं। टीसीपी विभाग के जूनियर इंजीनियर मौके का मुआयना करते हैं। नक्शा जमीन के अनुरूप बना होने के बाद टाउन प्लानर नक्शे पास करने की स्वीकृति देते हैं। अब इस प्रक्रिया को बदलकर निजी प्लानरों को ही नक्शे पास करने की शक्तियां दी जा रही हैं।
टीसीपी विभाग सिर्फ 500 वर्ग मीटर से अधिक प्लाट के नक्शे ही पास करेगा। सरकार ने एसओपी को मंजूरी दे दी है। नियमों की तहत (जितनी मंजिलें स्वीकृत हैं) ही यह नक्शे पास कर सकेंगे। सरकार के इस फैसले से हजारों लोगों को फायदा होगा। उन्हें टीसीपी कार्यालय के चक्कर काटने से छुटकारा मिलेगा। आईपीएच, सीवरेज, वन विभाग जैसे विभागों के एनओसी लेने के लिए भी कार्यालयों के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे। निजी प्लानरों को ये सभी औपचारिकताएं पूरी करनी होंगी। सारी औपचारिकताएं पूरी होने के बाद 48 घंटे के भीतर नक्शा स्वीकृति की अनुमति दी जाएगी। शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि निजी प्लानरों को भवन पास करने की शक्तियां दी जा रही हैं। ये प्लानर मनमानी फीस नहीं वसूल कर सकेंगे। सरकार की ओर से इनकी फीस तय की जाएगी।