एसटीपी कॉन्ट्रैक्ट वर्कर्ज यूनियन ने अपनी मांगों को लेकर शिमला जल प्रबंधन निगम लिमिटेड प्रबन्ध निदेशक कार्यालय यूएस क्लब शिमला के बाहर धरना-प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के बाद मांगों को लेकर यूनियन पदाधिकारियों की महाप्रबन्धक के मध्य लगभग 2 घंटे बातचीत हुई व मांगों के समाधान पर सहमति बनी।
विजेंद्र मेहरा, बालक राम, पंकज शर्मा व दलीप सिंह ने मांग की कि सीवरेज ट्रीटमैंट प्लांट व नैटवर्क के सभी मजदूरों को सुप्रीम कोर्ट के 26 अक्तूबर, 2016 के निर्णय अनुसार समान काम का समान वेतन दिया जाए तथा सुप्रीम कोर्ट के 12 मार्च, 2024 के निर्णय अनुसार रैगुलर किया जाए। मजदूरों को न्यूनतम वेतन के मुकाबले 50 प्रतिशत अधिक वेतन दिया जाए, क्योंकि साधारण काम के मुकाबले सीवरेज का काम बहुत मुश्किल होता है जिसमें काम करते हुए मजदूरों को बहुत सारी जहरीली और ज्वलनशील गैसों का सामना करना पड़ता है। सभी एसटीपी को फैक्ट्री एक्ट के दायरे में पंजीकृत किया जाए और फैक्ट्री एक्ट के दायरे में आने वाली सारी सुविधाएं मजदूरों को दी जाएं। मैन्युअल स्कैवेंजर्स एक्ट 2013 के अनुसार मजदूरों को सभी प्रकार के सुरक्षा उपकरण दिए जाएं, जिसमें पीपीई किट, ऑक्सीजन मास्क, गम बूट, हैलमेट, ग्लव्ज, लाइफ जैकेट, सुरक्षा चश्मे, सेफ्टी बैल्ट, पोर्टेबल फैन, प्राथमिक उपचार पेटी, साबुन, सैनिटाइजर, स्किन लोशन, मास्क आदि शामिल हैं। मैन्युअल स्कैवेंजर्स एक्ट 2013 को सख्ती से लागू किया जाए तथा इसकी अहवेलना करने वालों पर सुप्रीम कोर्ट के 27 मार्च, 2014 के निर्णय अनुसार ठोस कार्रवाई की जाए। सभी मजदूरों को पहचान पत्र जारी किए जाएं। मजदूरों को महिला तथा पुरुष के अनुसार कपड़े बदलने के लिए चेंजिंग रूम, बाथरूम, लॉन्ड्री और टॉयलेट की सुविधा दी जाए। मजदूरों को भोजन व औजार रखने के लिए कमरे की व्यवस्था की जाए। सभी एसटीपी में पीने के पानी की उचित सुविधा मुहैया करवाई जाए और एक्वागार्ड की सुविधा दी जाए। सभी एसटीपी के पुराने स्टाफ क्वार्टर की मुरम्मत की जाए तथा उनके ऊपर छत लगाई जाए और नए स्टाफ क्वार्टर भी बनाए जाएं। सभी मजदूरों को सर्दी व गर्मी अनुसार 2 वर्दी सैट दिए जाएं। सभी रिक्त पदों को तुरत भरा जाए। ईपीएफ और ईएसआई की सभी त्रुटियां ठीक की जाएं तथा बकाया भुगतान जमा किया जाए। मजदूरों को हर महीने की 7 तारीख से पहले वेतन दिया जाए। सभी एसटीपी में जो खाद निकल रही है उससे दुर्गन्ध फैल रही है और आसपास के स्थानीय निवासी भी दुर्गन्ध की शिकायत कर रहे हैं। इसलिए उसे वहां से तुरंत उठाया जाए। मजदूरों को बोनस की सुविधा दी जाए। उन्हें अर्जित, आकस्मिक, मेडिकल, राष्ट्रीय व त्यौहार आदि सभी प्रकार की छुट्टिया दी जाएं और वेतन में वरिष्ठता के आधार पर प्रतिवर्ष 30 प्रतिशत की बढ़ौतरी की जाए।