हिमाचल सरकार में कबीना मंत्री राकेश पठानिया द्वारा हाल ही में दिया गया बयान उनकी मानसिक स्थिति को बताता है वो शायद भूल गए हैं कि वो
एक संवैधानिक पद पर बैठे हैं ।उन्हें न तो अपने पद की गरिमा का ख्याल रखा अपितु इससे स्वर्गीय संसद रामस्वरूप शर्मा की दिवंगत आत्मा व उनके परिवार की मान मर्यादा को भी ठेस पोहुँचाई है। इससे उनका व उनकी पार्टी का चरित्र सामने आगया है और ये भी पता चलता है वो किस संकीर्ण मानसिकता के व्यक्ति हैं जो अपनी पार्टी के दिवंगत नेताओं का सम्मान नही कर सकता उससे क्या अपेक्षा की जा सकती है यदि कांग्रेस पार्ट ने उनकी मृत्यु की जांच की मांग की तो क्या गलत किया क्या भाजपा कुछ छुपा रही है यही बात स्वर्गीय रामस्वरूप शर्मा के पुत्र भी कर रहे हैं ।प्रशन पूछने पर बौखलाकर उल्टी सीधी बयानबाज़ी करने की भाजपा नेताओं की आदत बन गयी और जनता भी इन्हें समझ चुकी है।