हिमाचल के हमीरपुर जिले के दो कोरोना संभावित लोगों ने सरकार के साथ हिमाचल की मेडिकल साइंस को भ्रम में डाल दिया है। दोनों का यात्रा इतिहास न मिलने के बाद उनके परिवार के सभी 13 सदस्यों की सैंपल रिपोर्ट भी निगेटिव आई गई है।
मेडिकल साइंस कोविड -19 को एक व्यक्ति या वस्तु से दूसरे व्यक्ति में फैलने वाला संक्रामक वायरस मानती है, लेकिन पिछले 44 दिन से दोनों पॉजिटिव मरीजों के साथ रहने वाले उनके परिवार इस वायरस से सुरक्षित हैं। कोरोना नेटवर्किंगल के तहत अब 14 दिन बाद दोनों प्रकारों के पुन: सैंपल के लिए जाएंगे, जिस पर पूरे नजरें टिक्स हैं।
तीन दिन पूर्व हमीरपुर की एक पंचायत में एक ठेकेदार की पत्नी और नादौन क्षेत्र में निजी स्कूल प्रिंसिपल के सैंपल की रिपोर्ट पॉजिटिव निकली थी। महिला पांच मार्च को यूपी के बरेली से हमीरपुर पहुंची थी। महिला के परिवार में पांच लोग हैं।
महिला के पति ने बताया कि पत्नी को सर्दी-जुकाम, बुखार और बदन दर्द आदि कोई लक्षण नहीं थे। कान में सरसों का तेल डालने के बाद हमीरपुर मेडिकल कॉलेज में कान चेक करवाने गए थे। यहां पर फ्लू ओपीडी में जांच के बाद रेंडम सैंपल लिया गया। स्कूल प्रिंसिपल के परिवार में आठ सदस्य हैं। प्रिंसिपल का कहना है कि वह पिछले दो महीने में जिले से बाहर नहीं गए थे।
संक्रमित लोगों के परिजनों समेत सभी निगेटिव हैं। नौ सैंपल रिपीट किए गए हैं। प्राथमिक एवं द्वितीय संपर्क के 159 लोगों के नमूने लिए हैं। इनमें 100 नमूने परीक्षण को आईजीएमसी तथा 59 टांडा भेजे हैं।